श्री दुर्गा चालीसा

श्री दुर्गा चालीसा नमो नमो दुर्गे सुख करनी। नमो नमो अम्बे दुःख हरनी।। निराकार है ज्योति तुम्हारी । तिहूं लोक फैली उजियारी ।। शशि लिलाट मुख महा विशाला। नेत्र लाल भृकुटी विकराला ।। रूप मातु को अधिक सुहावे। दरश करत जन अति सुख पावे।। तुम संसार शक्ति लय कीना। पालन हेतु अन्न धन दीना।। अन्नपूरना … Read more

श्री दुर्गा अष्टमी व्रत विधि

श्री दुर्गा अष्टमी व्रत विधि श्री दुर्गा अष्टमी व्रत विधि :- यह त्यौहार अश्विन शुक्लपक्ष अष्टमी को आता है। इस दिन दुर्गा देवी की पूजा की जाती है। भगवती दुर्गा को उबाले हुए चने, हलुआ, पूड़ी, खीर, पूआ आदि का भोग लगाया जाता है। बहुत से व्यक्ति इस महाशक्ति को प्रसन्न करने के लिए हवन … Read more

श्री नवरात्रे व्रत कथा व व्रत की विधि

श्री नवरात्रे व्रत कथा व व्रत की विधि नवरात्रे कथा व्रत विधि – इस व्रत में उपवास या फलाहार आदि का कोई विशेष नियम नहीं है। प्रातः उठकर स्नान करके, मंदिर में जाकर या घर पर ही नवरात्रों में दुर्गाजी का ध्यान करना चाहिए और व्रत रखना चाहिए। कन्याओं के लिए यह विशेष फलदायक है। … Read more

भैरवनाथ की कथा

भैरवनाथ की कथा भक्त श्रीधर की सच्ची उपासना और अडिग विश्वास को देखकर मां वैष्णों को स्वयं एक दिन कन्या का रूप धारण करके आना पड़ा। भक्त जी कन्या का पूजन की तैयारी कर रहे थे, छोटी-2 कन्यायें उपस्थित थीं। उन्हीं में मां वैष्णवों भी कन्या बनकर आ गई। नियम के अनुसार पांव धोकर भोजन परोसते समय … Read more

भक्त श्रीधर की कथा

भक्त श्रीधर की कथा भक्त श्रीधर की कथा कहा जाता है लगभग सात सौ वर्ष पहले माता के परम भक्त श्रीधर जी हुए जो कटरा से लगभग दो किलो मीटर की दूरी पर बसे हंसाली नामक गांव में रहते थे। वे नित्य नियम से कन्या पूजन किया करते थे। संतान न होने के कारण वह … Read more

शीतला माता का व्रत क्यों करना चाहिए?

शीतला माता शीतला माता की पूजा का पर्व शुरू हो गया है। महालक्ष्मी जहां भूख बढ़ाती हैं वहीं शीतला माता उसे तृप्त करती हैं। धन की देवी जहां महालक्ष्मी हैं शीतला माता की पूजा का पर्व शुरू हो गया है। महालक्ष्मी जहां भूख बढ़ाती हैं वहीं शीतला माता उसे तृप्त करती हैं। धन की देवी … Read more

वैष्णो देवी का अवतार

वैष्णो देवी का अवतार कैसे हुआ ? वैष्णो देवी का अवतार – देश में विपरीत परिस्थितियां होने पर समय-समय पर महाशक्ति ने भिन्न-भिन्न रूप धारण कर, दुष्टों का नाश कर भक्तों की रक्षा की है। देवताओं के एकत्रित तेज समूह से उत्पन्न महाशक्ति ने कालान्तर में महाकाली, महालक्ष्मी एवं महासरस्वती के रूप धारण किए। यह … Read more

माँ ज्वाला देवी की कथा

माँ ज्वाला देवी ज्वाला जी की कथा – जिला होशियार पुर के गोपीपुरा डेरा से लगभग दस मील पर ज्वाला जी का मन्दिर है। यहां पहाड़ में से सदा अग्नि की लपटें निकलती रहती हैं। यह धृमा देवी का स्थान कहलाता है। यहां पर सती जी की जिभ्या गिरी थी। इसलिए 51 शक्तिपीठों में भी … Read more

तारा रानी की कथा इन हिंदी

महारानी तारा रानी की कथा माता के जगराते में महारानी तारा देवी की कथा कहने सुनने की परम्परा प्राचीन काल ही चली आती है। यद्यपि पुराणों या ऐतिहासिक पुस्तकों में इसको सम्मिलित करने की परम्परागत विधान है। जो इस प्रकार है :महाराजा दक्ष के दो पुत्रियां तारादेवी एवं रूकमण भगवती दुर्गा जी की शक्ति में … Read more

श्री नव दुर्गा स्तोत्र – माँ शैलपुत्री स्तोत्रं

पहली शैलपुत्री कहलावे – माँ शैलपुत्री शैल पुत्री मां बैल असवार । करें देवता जय जय कार । शिव शंकर की प्रिय भवानी । ‘तेरी महिमा किसी न जानी। पार्वती तू उमा कहलावे। मन लालजो तुझे सिमरे सो सुख पावे। मन ऋद्धि सिद्धि परवान करे तू। करे धनवान करे तू। दयासोमवार को शिव संग प्यारी … Read more