कहां रखोगे बाबा हारो की अंसुवन धार लिरिक्स
कहां रखोगे बाबा हारो की अंसुवन धार कहाँ रखोगे बाबा, हारो की अंसुवन धार, तेरा श्याम कुण्ड भी छोटा, पड़ जायेगा सरकार, कहां रखोगे बाबा, हारो की अंसुवन धार, तेरा श्याम कुण्ड भी छोटा, पड़ जायेगा सरकार || हारो की आँखे कभी, थकती नहीं है, अंसुवन की धारा कभी, रुकती नहीं है, उनकी पलको में … Read more