श्री राम से कह देना एक बात अकेले में लिरिक्स

श्री राम से कह देना इक बात अकेले में

श्री राम से कह देना इक बात अकेले में
रोता है भरत भेपा दिन रात अकेले में
श्री राम से कह देना इक वात अकेले में

वन वासी गये वन में फिर भी तो यही मन में,
रट ता हु राम रटना दिन रात अकेले में,
श्री राम से कह देना इक बात अकेले में

रो से के बिताये है कई साल अयोध्या में,
आँखों से बहे आंसू दिन रात अकेले में,
श्री राम से कह देना इक वात अकेले में

इस राज की ममता में भाई से बिछोग किया
ये भेद किया माँ ने और भाई सौतेले ने,
श्री राम से कह देना इक बात अकेले में

है लक्षमण बड़बागी मरता प्रभु चरणों में,
मुझे मौत नहीं आती दुनिया के अँधेरे में,
श्री राम से कह देना इक बात अकेले में

मेहरा वालिया साइयाँ रखी चरना दे कोल लिरिक्स

माँ अंजनी के लाल कलयुग कर दियो निहाल लिरिक्स

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